नारायणपुर संवाददाता ओमप्रकाश उसेण्डी
नारायणपुर- जिले के 359 अतिथि शिक्षको को पिछले 17 महीने से सेवा में नही रखने से सभी अतिथि शिक्षक परेशान हो चूके हैं। और बीते दिनों 1 दिवसीय धरना प्रदर्शन किये जिसके बाद कलेक्टर महोदय के पास संघ के पदाधिकारियों ने सेवा बहाली के लिये निवेदन , एवं ज्ञापन दिये किन्तु कलेक्टर धर्मेश कुमार साहू ने अतिथि शिक्षकों को अंतरिम व्यवस्था कहते हुये सेवा में नही रखने की बात कही।नारायणपुर जिले के DMF मद का पैसा गया तो कहाँ गया। यह DMF की राशि शिक्षा,स्वास्थ्य एवं पेयजल पर खर्चा के लिये हर जिले को दिया जाता हैं। और अब DMF FUND के समिति में सांसद दीपक बैज एक अहम सदस्य हैं। नारायणपुर के अतिथि शिक्षकों ने सांसद निवास उसरिबेड़ा में शनिवार को जाकर अपनी सेवा बहाली हेतु ज्ञापन दिया। सांसद से चर्चा के दौरान अपनी समस्याओं को बताएं और सेवा बहाली के लिए आग्रह की। सांसद ने कहा की नारायणपुर छोटा सा जिला है जिस कारण फंड कम आता है। अतिथि शिक्षकों के द्वारा उदाहरण के तौर पर दंतेवाड़ा की बात रखी तो सांसद महोदय ने कहा कि वहां लौह माइंस खदान है और आपके नारायणपुर में आमदाई घाटी लौह खदान को खुलने नहीं दिया जा रहा है अगर खदान खुल जाती है तो फंड की समस्या खत्म हो जाएगी। अतिथि शिक्षकों ने पुनः निवेदन कर सांसद महोदय को बोले सर अगर फंड की समस्या है तो तीनों वर्ग वर्ग 1 वर्ग 2 वर्ग 3 में से किसी वर्ग को विद्या मितान में मर्ज कर दीजिए इसमें एक करोड़ बज जाएगा जिसका उपयोग अन्य दो वर्गों के लिए भी किया जा सकता है। इन अतिथि शिक्षकों की स्थिति को देखते हुए सांसद ने हालत जानकार तुरंत सेवा बहाली के लिये कहा। अतिथि शिक्षकों ने बताया कि वर्तमान में DMF मद से बस्तर के दंतेवाड़ा , कांकेर , सुकमा , जिले में भर्ती हो चुकी हैं ऐसे में नारायणपुर अबूझमाड़ एक पिछड़ा जिला हैं यहां पर शिक्षा को प्राथमिकता देते हुये अतिथि शिक्षको की तत्काल सेवा बहाली करना चाहिये। सांसद ने फिर नारायणपुर डीओ और कलेक्टर को अतिथि शिक्षकों के सामने ही फोन कर सीएम बैठक मे ली गई निर्णय की जानकारी ली और तत्काल जहां एक कल वहीं विद्यालय जहां शिक्षकों की कमी है वहां सेवा बहाली के लिए निर्देश दिया गया है। और साथी सांसद महोदय ने 8 से 10 दिन तक का समय देते हुए जल्द ही समस्या का निवारण करने का आश्वासन दिया गया।