कांकेर :- रेशम विभाग द्वारा संचालित रेशम धागाकरण कार्य से चारामा विकासखण्ड अन्तर्गत ग्राम बाबूकोहका से शीतला समूह के 132 महिलाएं स्वरोजगार स्थापित कर धागाकरण कार्य से लाभान्वित हो रही हैं। रेशम विभाग द्वारा संचालित कोसा केन्द्र बाबूकोहका से कोसा लेकर महिलाएं अपने घरों में ही धागाकरण का कार्य करते हुए स्वरोजगार स्थापित किये हैं, महिलाओं द्वारा धागाकरण का कार्य करते हुए एक वर्ष में 26 लाख 65 हजार 363 रूपये आय अर्जित किए हैं।
कोसा केन्द्र बाबूकोहका अंतर्गत ग्राम झीपाटोला निवासी कचरा पटेल बताती है कि धागाकरण कार्य में जुड़ने के पूर्व खेती मजदूरी कार्य के अतिरिक्त कोई रोजगार नहीं था, मजदूरी कर परिवार चलाना बहुत कठिन था, परिवार में छः सदस्य है, सभी का खर्च चलाना, पढ़ाई लिखाई के खर्च के लिए बहुत ही कठिनाईयों का सामना करना पड़ता था। जब धागाकरण प्रशिक्षण के लिए हम लोगों का चयन होने के पश्चात बीआरजीएफ योजना अंतर्गत तीन माह का प्रशिक्षण दिया गया। प्रशिक्षण उपरांत रेशम विभाग द्वारा 10 प्रतिशत अनुदान से धागाकरण मशीन दिया गया, तब से अपने घरों में ही स्वरोजगार के रूप में धागाकरण कार्य किया जा रहा है। शीतला टेसर धागाकरण समूह के द्वारा 132 महिलाओं को स्वरोजगार मिल रही है। धागाकरण कार्य से वर्ष 2019 में 02 लाख 56 हजार 89 रूपये का विक्रय किया गया, जिससे 01 लाख 12 हजार 594 रूपये का अमदनी हुआ। इसी प्रकार वर्ष 2020 में 01 लाख 08 हजार 684 रूपये का धागा विक्रय किया गया, जिससे 57 हजार 637 रूपये आय अर्जित किया गया। इस प्रकार दो वर्ष में 01 लाख 70 हजार 231 रूपये का शुद्ध आय प्राप्त हुआ। उन्होंने बताया कि कोरोना महामारी के समय लॉकडाउन होने पर हम लोगों को घर में ही स्वरोजगार मिल रहा था, जिससे लॉकडाउन में भी आय प्राप्त करने में आसानी हुई।
Author: CG FIRST NEWS
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