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पालिका चुनाव की सरगर्मी धीमे धीमे लोगो के सर चढ़ने लगी हैँ, और चौक चौराहो मे चर्चाए आम होने लगी कोई दबी जुबा से तो कोई खुल के अपने चहेते प्रत्याशी का नाम लेने और प्रचार करने से नहीं चूक रहा है, और बात सीधी और साफ हैँ कोई प्रत्याशी के काम से ख़ुश है कोई व्यवहार से तो कोई उन्के चुनावी प्रचार और चुनावी वादों से और कुछ तो चुनावों मे बट रहे शराब और अन्य सामग्री के कारण प्रचार मे लगे है किन्तु बालोद पालिका अध्यक्ष का ताज किस के सर सजेगा ये बालोद की जनता ही तय करेगी और आने वाली 11 तारीख को सब की किस्मत का फैसला हों जायेगा बालोद मे चर्चाओ के बाजार गर्म है पालिका मे जहाँ पर भाजपा ने प्रतिभा चौधरी पर विश्वास जताया है तो कांग्रेस ने पद्मनी साहू पर दाव लगाया है तो वही निर्दलीय प्रत्याशी के रूप मे बालोद की महिला पत्रकार मंजू शर्मा और शबनम गौर खड़ी है, किन्तु चर्चाओ के बाजार मे प्रमुखता से दो नाम जो आगे हैँ प्रतिभा चौधरी और पदमीनी साहू दोनों ही प्रत्याशी रजनीतिक पहुँच और अनुभव वाले प्रत्याशी हैँ किन्तु बालोद की राजनीतीक फिजा मे जिस तरह से प्रतिभा चौधरी का नाम आगे है वही कांग्रेस प्रत्याशी अपने ही पार्टी के अंदर की गुटबाजी का शिकार होती नजर आ रही हैँ उन्के इर्द गिर्द स्वयं अध्यक्ष पद के दावेदार निराश प्रत्याशी हैँ वही कांग्रेस के अंदर चुनाव प्रभार और नेतृत्व को लेकर भी चर्चाएं गर्म हैँ, शहर की रजनीति मे बाहर के नेतृत्व को लाकर और शहर के नेतृत्व को जिन्होंने बालोद पालिका मे 10 साल कांग्रेस का झंडा फहराया उन्हें स्थान ना देना लोगो के बीच चर्चा का विषय है, वही बात करें भाजपा की तो गुटबाजी की हवा यहाँ भी प्रभावी थी किन्तु मंजे हुए राजनीतिज्ञयो ने शहर की राजनीती को समझते हुवे यज्ञदत शर्मा को जिम्मेदारी सौपी जिसके चलते गुटबाजी की हवा सिर्फ हवा ही रह गयी और बीजेपी एक जुट होकर प्रत्याशी को विजय श्री दिलाने मे भिड़े हुए है,जिसके चलते प्रतिभा चौधरी का पलड़ा भारी और लोगो का रुझान ज्यादा हैँ जिसकी एक और वजह प्रदेश और केंद्र मे भाजपा की सरकार का होना भी हैँ, पदमीनी साहू के लिए एक और बड़ी समस्या बालोद पालिका मे पिछले 10 सालो तक कांग्रेस का राज होना और विकास की धीमी गति का खामियाजा भी एक अहम मुद्दा हैँ जिसका सामना भी उन्हें करना पड़ सकता हैँ क्युकि क्षेत्र की जनता पूर्ववर्ती कार्यकाल का हिसाब याद रखे हैँ, वही पार्टी के अंदर गुटबाजी जग जाहिर है जो की रैलियों और मंचो पर बालोद की जनता के सामने खुल कर देखने को मिल रही हैँ जो लोगो के बीच दबी जुबान से चर्चा का विषय हैँ, रही बात निर्दलीय प्रत्याशी की तो मंजु शर्मा का नाम मजबूत हैँ क्षेत्र का परिचित और जाना पहचाना नाम जिनके खडे होने से नुकसान कांग्रेस को होता नजर आ रहा है क्युकी मंजू शर्मा ने भी कांग्रेस से जिले के शीर्ष नेतृत्व को लेकर बगावत की थी और निर्दलीय अध्यक्ष पद के लिए मैदान मे उतर कर बिगुल फुक दी हैँ खैर प्रत्याशीयों की जीत हार का फैसला बालोद की समझदार जनता के हाथो मे हैँ, ” हम किसी भी प्रत्याशी की जीत या हार की घोषणा नहीं करते ये केवल चुनावी चर्चाएं और सूत्रों से प्राप्त जानकारी मात्र हैँ “
सी जी फर्स्ट न्यूज़ आप सभी से आग्रह करता हैँ की 11फ़रवरी को घर से निकले और अपने मताधिकार का उपयोग करें और लोकतंत्र को मजबूत बनाये!
आओ मतदान करें मजबूत लोकतंत्र बनाये
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