CG NEWS : झोलाछाप डॉक्टर से इलाज कराना पड़ा महंगा,छात्रा की हुई मौत

गौरेला-पेंड्रा-मरवाही : जिले में एक स्कूली छात्रा की जान एक शिक्षक की झोलाछाप डॉक्टरी के चलते चली गई। इस मामले में आरोपी शिक्षक के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है, लेकिन शिक्षा विभाग की तरफ से अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। घटना मरवाही के बहरीझोरखी गांव की है, जहां आठवीं कक्षा में पढ़ने वाली एक छात्रा की तबीयत अचानक खराब हो गई। परिजन उसे इलाज के लिए पास के निमधा गांव में रहने वाले शिक्षक प्रदीप जायसवाल के पास ले गए। प्रदीप जायसवाल सरकारी स्कूल में प्राथमिक शिक्षक हैं, लेकिन इसके साथ ही वह एक निजी क्लीनिक भी चलाता है और खुद को डॉक्टर बताता है।

प्रदीप जायसवाल ने छात्रा को ग्लूकोज का बोतल चढ़ाया और कुछ दवाइयां दीं। दवाइयां खाने के बाद छात्रा की हालत और बिगड़ गई, जिससे चिंतित होकर उसके माता-पिता उसे तुरंत सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मरवाही ले गए। लेकिन, वहां पहुंचते ही छात्रा ने दम तोड़ दिया। इस घटना के बाद से ही स्थानीय लोगों में भारी आक्रोश फैल गया। मामले की गंभीरता को देखते हुए जिला प्रशासन ने वर्षा जायसवाल मेडिकल और क्लीनिक को सील कर दिया। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में इस बात की पुष्टि हुई है कि छात्रा की मौत गलत इलाज के कारण हुई। पोस्टमार्टम करने वाले डॉ. हरिओम गुप्ता ने बताया कि दिए गए दवाइयों के गलत प्रभाव के चलते छात्रा की हालत बिगड़ी थी। उन्होंने कहा कि क्लिनिकल परीक्षण में पाया गया कि उसकी आंखों, जीभ, और नाखूनों में खून की मात्रा बहुत कम थी। छात्रा को मैरीटोल 100 एम जी और आईवी फ्लूड डीएनएस 500 इंजेक्शन का रिएक्शन हुआ। इन दवाओं के कारण एनीमिया के मामले में हेमा डाइल्यूशन की आशंका बढ़ जाती है। जायसवाल ने बिना उचित जांच के ही इलाज शुरू कर दिया था। आरोपी शिक्षक प्रदीप जायसवाल के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है, लेकिन शिक्षा विभाग की ओर से अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है, जिससे स्थानीय लोगों में नाराजगी देखी जा रही है।

CG FIRST NEWS
Author: CG FIRST NEWS

CG FIRST NEWS

Leave a Comment

READ MORE

विज्ञापन
Voting Poll
6
Default choosing

Did you like our plugin?

READ MORE

error: Content is protected !!