बिलासपुर: छत्तीसगढ़ में पुलिस भर्ती प्रक्रिया को लेकर एक बड़ी खबर सामने आई है। हाईकोर्ट ने आरक्षक संवर्ग 2023-24 के तहत होने वाली भर्तियों पर अस्थायी रूप से रोक लगा दी है। यह फैसला जस्टिस राकेश मोहन पांडेय की सिंगल बेंच ने सुनवाई के दौरान लिया। इस फैसले से राज्य भर में पुलिस भर्ती के लिए आवेदन करने वाले हजारों उम्मीदवारों को झटका लगा है।
क्या है मामला?
हाईकोर्ट में याचिकाकर्ता बेदराम टंडन ने इस भर्ती प्रक्रिया को लेकर याचिका दायर की थी। याचिका में उन्होंने दावा किया कि भर्ती प्रक्रिया में अनियमितताओं और अपारदर्शिता के कारण उनके बेटे जैसे उम्मीदवारों के अधिकारों का हनन हुआ है। याचिकाकर्ता के पुत्र ने राजनांदगांव जिले में कांस्टेबल (जनरल ड्यूटी) के पद के लिए आवेदन दिया था।
याचिका में कहा गया है कि भर्ती प्रक्रिया को निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से संचालित नहीं किया गया है, जिससे उम्मीदवारों को समान अवसर नहीं मिल पाया।
किन पदों पर होनी थी भर्ती?
आरक्षक संवर्ग 2023-24 के तहत छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों में कांस्टेबल (जनरल ड्यूटी), ड्राइवर, और अन्य तकनीकी पदों के लिए भर्तियां होनी थीं। ये भर्तियां राज्य के पुलिस बल को मजबूत करने के उद्देश्य से की जा रही थीं।
हाईकोर्ट का फैसला
हाईकोर्ट ने याचिका पर सुनवाई के बाद भर्ती प्रक्रिया पर अस्थायी रोक लगा दी है। कोर्ट ने राज्य सरकार और पुलिस विभाग से जवाब मांगा है और भर्ती प्रक्रिया में पारदर्शिता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।
उम्मीदवारों पर असर
हाईकोर्ट के इस फैसले से उन उम्मीदवारों में निराशा है जिन्होंने भर्ती परीक्षा की तैयारी में महीनों मेहनत की थी। खासकर वे उम्मीदवार जो आर्थिक और सामाजिक रूप से कमजोर पृष्ठभूमि से आते हैं, इस फैसले से हताश महसूस कर रहे हैं।
आगे का रास्ता
इस मामले में अगली सुनवाई के बाद हाईकोर्ट का अंतिम फैसला आएगा। उम्मीदवारों को सलाह दी जा रही है कि वे कोर्ट की कार्यवाही का इंतजार करें और इस दौरान किसी अफवाह पर ध्यान न दें।
यह मामला छत्तीसगढ़ में सरकारी भर्तियों की प्रक्रिया की पारदर्शिता और निष्पक्षता पर भी सवाल उठाता है। देखना होगा कि राज्य सरकार और संबंधित विभाग इस मुद्दे को कैसे हल करते हैं।
Author: CG FIRST NEWS
CG FIRST NEWS