कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी डॉ. प्रियंका शुक्ला द्वारा छत्तीसगढ़ कोलाहल नियंत्रण अधिनियम 1985 की धारा-4 के अंतर्गत प्रदत्त शक्तियों का उपयोग करते हुए रात्रि 10 बजे से प्रातः 06 बजे तक ध्वनि विस्तारक यंत्रों का चलाया जाना पूर्णरूप से निषिद्ध किया गया है। ध्वनि विस्तारक यंत्रों का उपयोग चुनाव प्रचार करने के लिए वाहनों पर और चुनावी सभाओं में प्रातः 06 बजे से रात्रि 10 बजे तक ही किया जा सकेगा, किन्तु ऐसे ध्वनि विस्तारक यंत्र साधारण किस्म के होंगे और मध्यम आवाज में ही चलाये जायेंगे। लोक शांति को देखते हुए लंबे चोंगे वाले माईक (हार्न माईक) का उपयोग पूर्ण रूप से प्रतिबंधित किया गया है। वाहनों पर और चुनावी सभाओं में एक से अधिक माईक समूह में नहीं लगाये जायेंगे, इन्हें भी प्रतिबंधित किया गया है।
लाउड स्पीकर या ध्वनि विस्तारक यंत्र अन्य ध्वनि उत्पन्न करने वाले यंत्र का उपयोग सार्वजनिक स्थलों पर किया जा रहा हो तो उसकी सीमा उस क्षेत्र के परिवेशीय ध्वनि पैमाने से 10 डी.बी. (ए) से अधिक नहीं होना चाहिए या 75 डी.बी.(ए) से अधिक नहीं अथवा इनमें से जो भी कम है से अधिक है, नहीं होना चाहिए। किसी निजी उपयोग के स्थान की सीमा पर यदि किसी व्यक्ति द्वारा अपने निजी ध्वनि यंत्रों का उपयोग किया जा रहा है तो उसकी सीमा उस क्षेत्र के लिए निर्धारित परिवेशीय वायु गुणवत्ता सीमा से 05 डी.बी. (ए) से अधिक नहीं होना चाहिए।
प्रातः 06 बजे से रात्रि 10 बजे तक ध्वनि विस्तारक यंत्रों का उपयोग संबंधित क्षेत्र के अनुविभागीय दण्डाधिकारी व तहसील क्षेत्र हेतु तहसीलदार, नायब तहसीलदार कार्यपालिक दण्डाधिकारी की अनुमति लेकर सामान्यतः किया जा सकता है। परन्तु शैक्षणिक संस्थाओं, चिकित्सालयों एवं नर्सिंग होम, न्यायालय परिसर, शासकीय कार्यालय, छात्रावास, नगरपालिका, नगर पंचायत, जनपद पंचायत एवं किसी भी स्थानीय निकाय कार्यालयों, बैंकों, पोस्ट ऑफिस, दूरभाष केन्द्र आदि कार्यालयों से 100 मीटर की दूरी के भीतर ध्वनि विस्तारक यंत्रों, पटाखों एवं प्रेशर हार्न या म्यूजिकल हार्न या अन्य किसी प्रकार के साउण्ड एम्लीफायर का उपयोग सामान्य स्थिति में भी पूर्णतः प्रतिबंधित रहेगा। यह आदेश तत्काल प्रभावशाली हो गया है, जो 10 दिसम्बर 2022 तक सम्पूर्ण कांकेर जिला की राजस्व सीमा क्षेत्र में प्रभावशील रहेगा।
Author: CG FIRST NEWS
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