कांकेर, छत्तीसगढ़ : उत्तर बस्तर के नक्सल संगठन को बड़ा झटका देते हुए पुलिस ने डीवीसीएम रैंक की नक्सली और रावघाट एरिया कमेटी प्रभारी राजे कांगे को गिरफ्तार कर लिया है। राजे कांगे, जो शीर्ष नक्सली नेता प्रभाकर की पत्नी हैं, पर 8 लाख रुपये का इनाम घोषित था। पुलिस ने यह कार्रवाई कौड़ोसाल्हेभाट गांव में की, जहां राजे कांगे एक नक्सल समर्थक के घर में छिपी हुई थी।
पुलिस ने कैसे दिया ऑपरेशन को अंजाम
राजे कांगे को लेकर पुलिस को कुछ दिनों से पुख्ता सूचना मिल रही थी कि वह उत्तर बस्तर डिवीजन के कोयलीबेड़ा थाना क्षेत्र में सक्रिय है। 11 जनवरी को पुलिस ने सटीक जानकारी के आधार पर कौड़ोसाल्हेभाट गांव को चारों तरफ से घेर लिया। गांव में दबिश देकर राजे कांगे को श्यामनाथ उसेंडी के घर से गिरफ्तार कर लिया गया। श्यामनाथ उसेंडी, जो नक्सलियों का सहयोगी है और उन्हें शरण दे रहा था, को भी गिरफ्तार किया गया है।
प्रभाकर की गिरफ्तारी के बाद दूसरी बड़ी सफलता
पिछले महीने 40 लाख रुपये के इनामी शीर्ष नक्सली नेता प्रभाकर को गिरफ्तार करने के बाद पुलिस की यह दूसरी बड़ी सफलता है। राजे कांगे की गिरफ्तारी से नक्सल संगठन को और कमजोर होने की संभावना है। पुलिस का मानना है कि राजे कांगे के पकड़े जाने से रावघाट एरिया कमेटी की गतिविधियों पर भारी असर पड़ेगा।
राजे कांगे की नक्सली पृष्ठभूमि
राजे कांगे लंबे समय से प्रतिबंधित सीपीआई (माओवादी) संगठन के लिए काम कर रही थी। वह कई बड़ी नक्सली घटनाओं में शामिल रही है और संगठन को मजबूत करने में उसकी महत्वपूर्ण भूमिका रही है। डीवीसीएम रैंक की इस नक्सली नेता के पास संगठन की कई गोपनीय और अहम जानकारियां होने की संभावना है, जिसे पुलिस अब पूछताछ के जरिए जुटाने की कोशिश करेगी।
पुलिस का बयान
कांकेर पुलिस ने बयान जारी कर बताया, “राजे कांगे की गिरफ्तारी उत्तर बस्तर क्षेत्र में नक्सल विरोधी अभियान की बड़ी सफलता है। उनसे पूछताछ जारी है, और उम्मीद है कि नक्सल संगठन से जुड़ी कई महत्वपूर्ण जानकारियां प्राप्त होंगी। मिशन 2026 के तहत यह गिरफ्तारी नक्सलियों के खिलाफ चल रही रणनीति का अहम हिस्सा है।”
गांव में घेराबंदी से सफलता
पुलिस के मुताबिक, सर्च ऑपरेशन के दौरान यह जानकारी मिली कि राजे कांगे कौड़ोसाल्हेभाट गांव में छिपी हुई है। इसके बाद पूरे गांव को घेरकर दबिश दी गई और उसे गिरफ्तार किया गया। श्यामनाथ उसेंडी, जिसने उसे शरण दी थी, को भी हिरासत में लिया गया है। पुलिस का मानना है कि इस गिरफ्तारी से नक्सलियों के मनोबल पर बड़ा असर पड़ेगा।
राजे कांगे की गिरफ्तारी का असर
विशेषज्ञों का मानना है कि राजे कांगे की गिरफ्तारी से रावघाट एरिया कमेटी की गतिविधियों पर रोक लग सकती है। वह नक्सल संगठन के बड़े कैडर की नेता थी और लंबे समय से संगठन को मजबूत करने का काम कर रही थी। अब, पुलिस को उससे पूछताछ के जरिए नक्सल संगठन की रणनीतियों और अन्य नेताओं की जानकारी मिलने की संभावना है।
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Author: CG FIRST NEWS
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